मध्यप्रदेश की शिवराज सिंह सरकार ने करीब 200000 किसानों को सम्मान निधि का पैसा आवंटित किया था लेकिन अब हजारों किसानों के पास नोटिस भेजकर सम्मान निधि का पैसा वापस मांगा गया है। नोटिस में बताया गया है कि किसान सम्मान निधि के पात्र नहीं है। सवाल यह है कि अपात्र किसानों को पात्र किसानों की लिस्ट में किस ने दर्ज किया।
मध्यप्रदेश में किसान सम्मान निधि के पात्र किसानों की संख्या लगातार घटती जा रही है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने सम्मान निधि की पहली किस्त 171000 से ज्यादा किसानों को वितरित की थी परंतु हाल ही में जब पांचवी किस्त दी गई तो किसानों की संख्या मात्र 82247 रह गई थी।
1 एकड़ जमीन के किसान को आयकर दाता बताया
कई किसानों को भेजे गए नोटिस में उन्हें आयकर दाता बताया गया है। किसान यह नहीं समझ पा रहे हैं कि उन्होंने अपनी पूरी जिंदगी में कभी आयकर रिटर्न दाखिल नहीं किया। कृषि आय कर मुक्त होती है। कई किसानों की जमीन मात्र 1 एकड़ है, ऐसी स्थिति में वह हाय करता था कैसे हो सकते हैं।
₹8000 दिए ₹10000 वापस मांग रहे हैं
कुछ किसानों ने बताया कि प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि के तहत उन्हें आज तक मात्र ₹8000 प्राप्त हुए हैं। उनके पास बैंक स्टेटमेंट है जो इसके लिए पुख्ता प्रमाण है। लेकिन शिवराज सिंह चौहान सरकार की तरफ से भेजे गए नोटिस में ₹10000 वापस मांगे गए हैं। किसान समझ नहीं पा रहे हैं कि सम्मान करने के बाद उनका अपमान क्यों किया जा रहा है।