पीड़िता के बेटे ने आरोप लगाया था कि हम पुलिस में शिकायत करने गए. मैंने पुलिस को बताया कि महंत ने ही मेरी मां को मारा है. इसके बावजूद पुलिस ने कार्रवाई नहीं की गई. महिला के परिजनों का आरोप है कि पुलिस पहले तो उन्हें टरकाती रही, और कुएं में गिरने को ही मौत की वजह बताती रही. दो दिन तक शव का पोस्टमॉर्टम भी नहीं कराया. जब यह मामला मीडिया में उछला, तब कहीं जाकर पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ FIR दर्ज की. उसके बाद 5 जनवरी को पोस्टमॉर्टम कराया गया, जिसमें बलात्कार और शरीर पर गंभीर चोटों की पुष्टि हुई.इसे निर्भया जैसा मामला बताए जाने के बाद योगी सरकार ने सख्ती दिखाई. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आरोपियों पर NSA के तहत कार्रवाई करने के आदेश दिए. लापरवाही बरतने के आरोप में उघैती के थाना प्रभारी राघवेंद्र को सस्पेंड कर दिया गया. एडीजी ने प्रेस कॉन्फ्रेंस करके बताया कि केस की तहकीकात के लिए एसटीएफ को लगाया गया है.